क्या इंदिरा गांधी की हत्या हिंदू-सिख विभाजन को गहरा करने के लिए की गई थी?
इंदिरा गांधी की हत्या 31 अक्टूबर 1984 को उनके सिख अंगरक्षकों, बेअंत सिंह और सतवंत सिंह, द्वारा की गई थी। उनकी हत्या के पीछे मुख्य कारण ऑपरेशन ब्लू स्टार था
इंदिरा गांधी की हत्या 31 अक्टूबर 1984 को उनके सिख अंगरक्षकों, बेअंत सिंह और सतवंत सिंह, द्वारा की गई थी। उनकी हत्या के पीछे मुख्य कारण ऑपरेशन ब्लू स्टार था, जिसे जून 1984 में अमृतसर के स्वर्ण मंदिर से चरमपंथी सिख नेता जरनैल सिंह भिंडरांवाले और उनके अनुयायियों को हटाने के लिए अंजाम दिया गया था। इस सैन्य अभियान के दौरान, सिख धर्म के सबसे पवित्र स्थल, स्वर्ण मंदिर, को भारी क्षति पहुंची, जिससे सिख समुदाय में व्यापक गुस्सा और आक्रोश पैदा हुआ।
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इंदिरा गांधी की हत्या को आमतौर पर सिख भावनाओं पर हुई चोट का प्रतिशोध माना जाता है, न कि हिंदू-सिख विभाजन को गहरा करने के लिए कोई योजनाबद्ध कदम। हालांकि, उनकी हत्या के बाद जो घटनाएँ हुईं, विशेष रूप से दिल्ली और भारत के अन्य हिस्सों में बड़े पैमाने पर सिख-विरोधी दंगे, ने निश्चित रूप से हिंदू-सिख संबंधों को गंभीर रूप से प्रभावित किया। इन दंगों में हजारों सिख मारे गए, और सिख समुदाय के खिलाफ व्यापक हिंसा और लूटपाट हुई, जिससे दोनों समुदायों के बीच गहरे घाव पैदा हुए।